क्या करू…मेरा दिमाग काम करना बंद कर चुका था और जो भी मुझे समझना था मैं समझ चुका था मैं चुप चाप उठा और सीढ़ी को उसके स्थान में रख जैसे आया था वैसे ही वँहा से निकल गया, कार को जंगलो की ओर घुमा दिया और एक सुनसान सी जगह में रोक लिया, नीचे उतरा और जोरो से चिल्लाय.. Bhabhi xxx “आआआआ.”मेरे आंखों में आंसू फुट गए ये उस मजबूरी के आंसू थे जो मैं इतने दिनों से सह रहा था, मुझे बड़ी जोरो से शराब या सिगरेट की तलब लग रही थी, ऐसे तो सालो से मैंने इन्हें हाथ भी नही लगाया था लेकिन कालेज के समय की थोड़ी लत अभी भी बाकी थी.मैं सोच में पड़ा हुआ था की क्या करू घने जंगल में यू अंधेरी रात को मैं अकेला कार के बाहर बैठा था, लेकिन मेरे दिल में थोड़ा भी डर नही था, मैं यू ही ना जाने कितने देर यू ही बैठा
माँ और उसकी दोस्तों के साथ चार लोगों का गंदा मजा
Related videos



















